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JOSF - Jat Officers Social Forum
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Khap panchyayat demands change in Hindu Marriage Act
Earlier, during a meeting at Danoda Kalan village in Narwana sub-divison of Jind district on April 18, the panchayats had made the same demand, saying such marriages were against societal norms. A mahapanchayat of different khaps would now be held at Pai in Kaithal district on May 2, to decide the future strategy.
Mamta Kharab - captain of the Indian women's hockey team

Manpreet Singh Gony Jat Cricketer from Punjab
Gony has made his mark in the 2008 Indian Premier League matches. He played for the Chennai Super Kings. He was one of leading wicket takers in the Indian Premier League and also performed well with the bat, scoring crucial runs in the last overs. He was instrumental in the Chennai Super Kings victory against Delhi Dare Devils. He took 17 wickets in 16 matches in the IPL tournament. His team, the Chennai Super Kings, were the runner's up of the IPL tournament. Gony was drafted into the Indian cricket team for the Tri-Nation Series in Bangladesh in place of Sreesanth who was ruled out with a side strain
Krishna Poonia a Jat discus thrower from Rajasthan
Krishna Poonia threw the discus to 61.53, her personal best, in the second try and finished behind Aimin Sing of China (63.52) and Ma Xuenjun, also of China (62.43). Krishna Poonia had won gold medal in the 46th Open National athletics championships to nose ahead of favourites Seema Antil and Harwant Kaur while registering a career-best 60.10 metres distance. She contested at the 2008 Beijing Olympics, but failed to reach the finals, after finishing 10th in the qualifiers with a throw of 58.23 m.
Seema Antil a jat discuss thrower from Haryana
Alka Tomar a Wrestling player from Meerut

Jat Community Gotra or Clan System in India
Some of Jat Gotras are listed here
What is Gotra or Clan in Indian Communities
Maharshi Panini has defined gotra in his grammar as " उपत्यं प्रौत्रं प्रभृति गोत्रम " means Gotra is the name of group of descents, leaving son, including grandsons and great grandsons.
Sh. Laxman Burdak - IFS Officer and Jat Historian
He is known for his wast knowledge on jat community and history.
Jat History - Origin of Jat People in India
जाट शब्द का प्रयोग आदिकाल से होता आया है। आदि सृष्टि में देवाधिदेव भगवान आदि शासक सम्राट हुये। भगवान शंकर की जटा से उत्पन्न होने के कारण ही इस समुदाय का नाम जाट पड़ा है। भगवान शिव के गुणों की साद्रश्यता जाटों में आज तक विद्यमान है। भगवान महादेव शंकर की जटाओं से निसृत ब्रह्मपुत्र, गंगा, यमुना, सरस्वती, सतलज, ब्यास, रवि, चिनाब, झेलम, गोदावरी, नर्मदा इत्यादि से उर्वरित भूमि जाटों की मातृभूमि विशेषतया रही है।
पर्यावरण की पवित्रता तथा स्वास्थ्य रक्षा के लिये इस जाति के लोग परमयाज्ञीक हैं, देव पूजा, संगती करण, दान करना उनकी स्वाभाविक प्रवृत्ति हे। भगवान शिवजी से जाटों की उत्पत्ति का युक्ति प्रमाण से विस्तार पूर्वक वर्णन है। रघुवंशी राजाओं, चंद्रवंशी राजाओं के वैवाहिक सम्बन्ध, राज्य प्रबन्धों, सुरक्षित वैभव सम्पन्न प्रजाओं का विशद आख्यान, पूर्वकथित जाटों जैसे गुण मिथिलाधिपीत जनक विदेह और दिलीप, भगवान श्री रामचंद्र, लक्ष्मण, भरत, शत्रुघ्न में थे। जाट समाज मर्यादा पुरुषोत्ताम भगवान श्री रामचंद्र को अपना पूर्वज और पूजनीय मानकर उनके गुणों की स्तुति करते हैं। महाभारत काल की रीति-नीति, चाल-चलन, वैवाहिक प(ति तथा जाट संघटन अपने वंशज पांडवों की परम्परा से चले आ रहे हैं। तथा उस समय के गणतंत्र निर्माता योगेश्वर श्री कृष्ण चन्द्र की गणतंत्र रूप पंचायतों के न्याय की मान्यता जाटों में है।
महाभारत काल तक जाट शब्द समुदाय वाचक था। इसके पश्चात अन्य जातियों की भाँति इसका प्रयोग जन्मगत जाति के रूप में प्रचलित हो गया। जाटों ने अपनी वैभवशाली परम्परा एवं वीरोचित कार्यों से इतिहास के कुछ पृष्ठों पर साधिकार आधिपत्य किया है। जाट सदैव शौर्य एवं वीरता के प्रतीक रहे हैं। कुछ लेखक जाटों को आर्यों की संतान मानते हैं, कुछ हैहय क्षत्रियों की स्त्रियों के गर्भ से ब्राह्मणों द्वारा उत्पन्न घोषित करते हैं, कुछ इन्डोसिथियन जातियों के साथ इनका सम्बन्ध स्थापित करते हैं। कुछ शिव की जटा से उत्पन्न मानते हैं। कुछ युधिष्ठर की पदवी जेष्ठ से जाट उत्पन्न हुआ मानते हैं कुछ जटित्का को जाट जाति का आदि श्रोत ठहराते हैं। कुछ इन्हें विदेशों से आया हुआ जिट, जेटा ऐक गात ;जाटध्द मानते हैं। कुछ इनको ययाति पुत्र यदु से सम्बन्धित मानते हैं और कुछ इनका अस्तित्व पाणिनी युग पूर्व मानते हैं तथा आर्यों के साथ इनका अभिन्न सम्बन्ध स्थापित करते हैं।
जाटों की शारीरिक संरचना, भाषा तथा बोली उन्हें आर्य प्रमाणित करती है। ऐसा डॉ0 ट्रम्प एवं वीम्स ने माना है। यह तय है कि जाट आर्य हैं और प्रचण्ड वीर हैं। संसार में विभिन्न देशों में जाट प्राचीन काल से आज तक निवास व शासन करते आये हैं भारत में बहुत प्राचीन काल से रहते आये हैं। जाटों ने तिब्बत, यूनान, अरब, ईरान, तुक्रिस्तान, चीन, ब्रिटेन, जर्मनी, साइबेरिया, स्कोण्डिनेलिया, इंग्लैण्ड, रोम व मिश्र आदि में कुशलता, दृढ़ता और साहस के साथ राज्य किया था और वहाँ की भूमि को विकास-वादी उत्पादन के योग्य बनाया था। मालवा, राजस्थान, पंजाब, हरियाणा तथा गंगा-यमुना का किनारा उनका मूल निवास स्थल है। विदेशी आक्रमणकारियों से उन्होंने देश को बचाया है, हूणों को परास्त किया है, देश और समाज की प्रगतिशील संस्कृति के निर्माण में उन्होंने महान योगदान दिया है, राजा एवं पुरोहित के गठबन्धन को तोड़ा है, इस संघर्ष में वे स्वयं टूटे हैं लेकिन मिटे नहीं, उनकी रुचि इतिहास के निर्माण करने में रही, इतिहास लिखने का काम उन्होंने दूसरों के लिए छोड़ दिया, जिन्होंने अपना उत्तारदायित्व ईमानदारी से नहीं निभाया और जाटों की विशेषताओं से जनसाधारण को दूर ही रखा।